Shri Bajrang Ban | श्री बजरंग बाण ध्यान
बजरंग बाण ध्यान | Shri Bajrang Ban श्रीराम अतुलित बलधामं हेमशैलाभदेहं। दनुज वन कृशानुं, ज्ञानिनामग्रगण्यम्।। सकलगुणनिधानं वानराणामधीशं। रघुपति प्रियभक्तं वातजातं नमामि।। दोहा : निश्चय प्रेम प्रतीति ते, विनय करैं सनमान।…